तू उस आंसू की
तरह
आँख में ही सुख
जाए
वो गीत
मन जो गाता
जाए
बात कुछ ऐसी
जो कही न जाए
वो फरियाद
जिससे जुडी
मेरी आस
एक ऐसा राज
जो दफ़न हो
मेरे साथ
तू जो कहे
ओढ़ लु तेरा ही
रंग
तेरे नाम को
पढू
आयत बना के
तुझे ही सिमरु
माला बना के
तू उस आंसू की
तरह
आँख में ठहर
जाए
सपनों की तरह
तू उस दुआ की
तरह
जो कबूल हो
जाए
किसी भी तरह
रिंकी